दोस्तों वृंदावन में निवास करना यानी भगवान के चरणों में शरण मिल जाना | वृंदावन का
दूसरा नाम मोक्ष है | यहां पर बात करना राधा रानी की कृपा के बिना संभव नहीं है |
जो भक्त राधारानी को रिझा लेता है वहीं आकर यहां भगवान श्री कृष्ण और राधा रानी की
कृपा का पात्र बनता है | संतों का कहना है कि जन्मों-जन्मों की अच्छे आचरण और भगवान
की सेवा के बाद ही वृंदावन में वास होता है |
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